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पृष्ठम्:संस्कृत-हिन्दी शब्दकोशः (चतुर्वेदी).djvu/७२४

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लवित्त, लम्बित लंबित ) ( व० ० ) १ लटकता लम्बित भूलता हुआ | ३ डूबा हुआ हुआ |.४ आश्रित । टिका हुआ लंबुपा ) लम्बुपा ) ( हुआ | २ नीचे पैठा ७९७ ) ( श्री० ) सात लड़ी का हार। सतलदी।

लंभः २१ प्राप्ति | उपलब्धि | २ मिलन । ३ पुनः लम्भः प्राप्ति | ४ लाभ | ) ( न० ) १ प्राप्ति उपलब्धि | २ पुनः ऽ प्राप्ति | लंभनं लम्भनम् लंभित ) ( ३० ऋ० ) १ प्राप्त किया हुआ | हासिल लम्भित ) किया हुआ | २ प्रदत्त | दिया हुआ । ३ वर्द्धित | बढ़ाया हुआ । ४ प्रयोग किया हुआ | लगाया हुआ। १ लालन पालन किया हुआ | ६ कथित सम्बोधित जलाम ललना ( खी० ) १ श्री रमशी २ स्वेच्छाचारिणी स्त्री | ३ जिल्हा :-प्रियः (०) । ललनिका (स्त्री० ) छोटी अथवा अभागी स्त्री ललंनिका ) (पु० ) १ लंबी माला २ ललन्तिका ) चा गिरगड | जलाकः (०)ङ्ग। जननेद्रिय । ललाटं ( न० ) माथा भाल। मस्तक /- अक्षः ( पु० ) शिवजी का नाम - पट्टः ( पु० ) - पट्टिका ( स्त्री० ) १ माथे का चपटा भाग २ सुकुट | किरीट - लेखा, ( स्त्री० ) कपाल का लेख। भाग्यलेख । लई ( धा० परस्मै० ) [ लवंति ] जाना | चलना । लल् (धा० उभय० ) [ ललति-ललते ] खेलना । क्रीड़ा करना । श्रमोदप्रमोद करना | लल ( वि० ) १ खिलाड़ी | क्रीड़ाग्रिय | २ अभिलाषी । जजस् (वि० ) १ खिलाड़ी | २ मुँह से बाहिर निकाले हुए। -जिह, (वि० ) (=लनज्जिह) १ जिल्हा मुंह के बाहिर निकाले हुए । २ वहशी | भयानक । -जिह, (पु०) १ कुत्ता । २ ऊँट | ललनः ( पु०) १ कोढ़ा। खेल । आमोद | २ जिह्वा | को मुंह से बाहिर निकालना :

लाटकं (न० ) १ माथा | २ सुन्दर माथा | ललाटंतप ) (वि० ) १ माथे को तपाने वाला | २ ललाटत अस्थत पीड़ाकारी । लय ( धा० आत्म० ) [ लयते ] जाना । लयः ( पु० ) १ विलीन होना। लीनता। मग्नता २ एकाग्रता । ३ नाश । विनाश ४ संगीत की लय [जो तीन प्रकार की मानी गयी है, द्रुत, मध्य धौर विलंबित]। ५ संगीत का ताल । ६ विश्राम | ७ विश्रामस्थान 1 घालय | वासस्थान | ८ मन की सुस्ती । मानसिक अकर्मण्यता । १ आलिङ्गन - आरम्भः प्रलम्भः ( पु० ) नट | नचैया । --कालः, ( पु० ) प्रलय काल । --गत, (वि०) ललाम ( वि० ) [ श्री-जलामो ] १ रमणीय । सुन्दर । बढ़िया। गला हुआ | पिघला हुआ । – पुत्री (स्त्री० ) | ललामं ( न० ) १ माये पर धारण किये जाने वाले ( नाटक की पात्री नाचने वाली। लयनं ( न० ) १ चिपकन । लिपटन। २ आराम विश्राम । ३ विश्राम गृह } आभूषण ( यथा- बैनाबँदिया: कटियाँ कुमर ) [ यह शब्द पुलिङ्ग भी होता है, जब यह भूषण के अर्थ में प्रयुक्त किया जाता है ]! २कोई भी सर्वोत्तम जाति की वस्तु ३ माथे का चिन्ह या निशान | ४ चिन्ह | निशानी | २ झंडा | पताका ६ पंक्ति | रेखा | अवलो | ७ पूंछ हुम गरदन के बाल कायाल र प्राधान्य गौरव | सौन्दर्य ३० सींग | शुङ्ग । ललामः ( पु० ) घोड़ा | जलामकम् ( न० ) माथे पर धारण किया जाने वाला ललाइंतपः } (पु०) सूर्य । ललान्तपः जलाटिका ( श्री० ) १ आभूषण | २ माथे पर लगा हुआ तिलक । | ललाटूल ( वि० ) वह जिसका माथा ऊँच या सुन्दर पुष्पगुच्छ अथवा पुष्पमाला | ललामन् ( न० ) १ चाभूषण सजावट | २ कोई भी सर्वोत्तम वस्तु । ३ झंडा | पताका | ४ साम्प्र दायिक तिलक । चिन्ह । चिन्हानी | पूंछ | म | ४