पृष्ठम्:चतुर्वेदी संस्कृत-हिन्दी शब्दकोष.djvu/१२९

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चतुर्वेदकोष । १२ कुठेरड, (पुं. ) अग्नि । कुठेरुः, (पुं. ) पङ्खा या चौंरी से उत्पन्न हवा । कुड्, (क्रि. ) जलाना । घबड़ाना | बचाना । खाना । बालक होना । कुड़ङ्गः, ( पुं. ) कुञ्ज । लतागृह | कुड़प-च, ( पुं. ) एक पाव । सेर का चौथियाई भाग । कुड्मल, ( पुं. न. ) खिलने के समय की प्राप्त हुई कली | नरकविशेष | कुड़िः, ( सं . ) शरीर । देह । कुडिका, ( स्त्री. ) कठौती या पथरौटी । कुडी, (स्त्री.) कुटी । झोपड़ी । कुड्यं, (न. ) दीवार । कौतूहल । व्यसन | कुरण, (क्रि. ) सहारा देना | सहायता देना | शब्द करना। सलाह देना। बातचीत करना । आमंत्रण देना । नमस्कार करना । कुणकः, (पुं. ) किसी जीवजन्तु का हाल का जन्मा बच्चा । कुणप, ( पुं. ) प्राणरहित । मृत शरीर | मुरदा । दुर्गन्धयुक्त । भाला । कुणरु, (गु.) चिल्लाता हुआ।" कुणि, ( पुं. ) बिसहरी । फोड़ा जो हाथ के उङ्गली के नाखूनों के किनारे होता है। कुराटक, (पुं. ) मोटा । चर्बीला । कुण्ठ, ( पं . ) मौथरा | ढीला | मूर्ख | मन्द- बुद्धि । निर्बल | कुण्ठकः, ( पुं ) मूर्ख | कुण्ड्, (क्रि.) जलाना खाना । ढेर लगाना। रक्षा करना । कुण्डलिन्, (पुं.) घेरा देने वाला । सर्प । साँप | कुण्डलिनी, (स्त्री.) तांत्रिक शक्तिविशेष । साँपिन । कुण्डिका, ( स्त्री. ) घड़ा | कमण्डलु ।. कुण्डिन्, (पुं. ) शिव जी का नाम । वर्ण- सङ्कर । घोड़ा । मुनिविशेष | कुण्डिनं, (न.) विदर्भों की राजधानी का नाम | मुनिविशेष | कुन्तः कुण्डिर-कुण्डीर, ( पुं. ) ९ढ़ मजबूत मनुष्य | कुतपः, ( पुं. ) सूर्य्य | श्रग्नि । ब्राह्मण । अतिथि । गौ । भाञ्जा । दौहित्र | बाजा । नैपाली कम्बल | कुशतृण । दिन के दोपहर की पिछली घड़ी से तीसरे पहर की पहली घड़ी तक का समय । कुतस्, ( श्रव्य. ) प्रश्न । कहाँसे । कबसे । कहाँ । किस स्थान पर । क्यों । किस कारण से । कैसे । कुतुकं, (न. ) इच्छा | अभिलाष । कौतुक । कुतुप, (मुं. ) छोटा सा चमड़े का कुप्पा । घी रखने का बरतन । दिन का आठवाँ मुहूर्त्त । 1 कुतूहल (न. ) अद्भुत । विलक्षण | अपूर्व । कुत्र, ( अव्य. ) कहाँ । कब । कुत्स्, (क्रि. ) गाली देना। निन्दा करना । कुत्सा, ( स्त्री. ) निन्दा । परिवाद । कुत्सित, ( न. ) निन्दित | निन्दा किया हुआ | बुरा कहा गया | कमीना । क्षुद्र । कुथु, ( कि. ) सड़ना । दुर्गन्ध निकलना । फफूदी लगाना । कुथ, (पुं. स्त्री. ) हाथी की कूल । ( : ) कुश तृण । कुद्दारः - लः-लकः, (पुं. न. ) कोविदार वृक्ष । कचनार का पेड़ । काकानासा | कुदाली | थावे का धड़ा । कुद्रङ्कः-गः, ( पुं. ) चौकीदार का घर | मकान जिसमें किसी वस्तु का ताकने वाला रहता है। कुध्रः, (पुं.) पहाड़ । पर्वत । कुनकः, (पुं. ) काका । कौवा । कुनखः, (पुं.) नखों का रोग जिसमें नखों का रङ्ग बदल जाता है । कुनख रोग वाला मनुष्य । कुनालिका, ( स्त्री. ) कोरल | कुन्तः, ( पुं. ) प्रास नाम शस्त्र। भाला। एक