पृष्ठम्:आपस्तम्बीयं श्रौतसूत्रम्.djvu/७९३

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आपस्तम्बश्रौतसूत्रभाष्यवृत्त्यादिपाठशोधनी पुटे पछौ पुटे पाठ्यम् 305 9 ऐन्द्रामविका 306 21 पाक्षिकत्वम् 320 10 मपकर्ष 321 14 द्वे कुम्भ्यौ 322 13 ऐक्योप 322 24 अनेकपत्नीक वर्ज्यपा 324 10 324 11 पात्रीप्रा 327 15 प्रातर्दोहपा 327 27 दर्दोहपा 330 8 वक्ष्यमाण 330 10 बर्हिषी 332 13 दोहाभ्याम् 333 19 त्युपदेश: 333 20 336 336 344 350 5 इत्युक् 364 13 बर्हि आह 6 ममतिं दुर्म 394 2 णोपस्थान 391 396 2 आज्यानाम् 397 9 दशहोतारम् 399 17 सीद होतरिति अमध्यवर्ति त्यानूयाजिकाम् 401 15 409 10 437 22 हौत्रकाण्डे 439 11 त्रिर्हिंकृत्येति 441 13 व्यन्यादपाने आश्रावणोत्तर 9 त्युपपत्तिः 11 त्वैवाङ्गित्व 18 इत्यर्थ · 442 14 443 14 पाठ्यम् त्रिर्विग्रह आजुहोती प्रयाजादिषु 444 9 452 21 जेषु व्याहृ 454 20 होमीयस्य 458 20 458 24 सिद्धयादि च औषड्द्वेष्य 460 10 461 458 26 ड्वौषडित्यु स्मादिडोपहृतो 2 त्यर्थविधानात् । 463 14 विशिष्योप 463 17 भूताग्निसं 463 18 कोनुपूतः 465 15 विद्युद्दृष्टयोः 467 12 गुहाकार 167 15 भरन्त. शतं जीवेम 467 18 पहत्यै 167 19 468 469 11 मदन्तो 469 14 प्रजाभ्यः 14 शकलानि पञ्च पर्णस्सोम 657 तूष्णीम् पर्णैक्योप १५ 469 19 470 2 यदुपार्शणो 470 11 संभरामि 471 13 अरण्योस्संभर 472 5 नित्यत्वं च 473 13 त्राभोजनोप 473 18 फलस्य परि 473 20 सूत्रस्थरोहपदार्थः