पृष्ठम्:संस्कृत-हिन्दी शब्दकोशः (चतुर्वेदी).djvu/३४

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अधिक ( २३ ) अधिदन्तः अधिक (वि०) १ बहुत ज्यादा । विशेष | २ अतिरिक्त । अधिकारिन् } (वि०) अधिकारयुक्त । अधिकार सिवा फालतू बना हुआ। शेष | अधिकारवत् । प्राप्त २ पाने का हकदार प्राप्त करने का अधिकारी। ३ प्राप्त । ४ योग्य । योग्यता या क्षमता रखने वाला । क़ाविल । उप- युक्त पात्र | अधिकारी, अधिकारवान् ( पु० ) अफ़सर । पदाधिकारी | दरोगा । २ स्वामी | मालिक | स्वस्याधिकारी । अधिकम् (न० ) अलकार विशेष, जिसमें आधेय को आधार से अधिक वर्णन करते हैं। श्रङ्ग, श्रङ्गी (वि०) नियत संख्या से अधिक अंगों वाला - अर्थ (अधिकार्थ) (वि०) प्रत्युक्त ॠद्धि (वि०) बहुल । प्रचुर | शुभ सम्पन्न | सौभाग्य- शाली। ऋजुमान् । तिथि ( स्त्री० ) -- दिनं ( न० ) - दिवसः (पु०) बढ़ी हुई तिथि | अधिकरणम् ( न० ) १ आधार। आसरा | सहारा । २ सम्बन्ध । ३ (व्याकरण में) की और कर्म द्वारा क्रिया का आधार | व्याकरण विषयक सम्बन्ध | ४ (दर्शन में) आधार विषय अधिष्ठान | मीमांसा और वेदान्त के अनुसार वह प्रकरण जिसमें किसी सिद्धान्त विशेष की विवेचना की जाय और उसमें निम्न पाँच अवयव हों-१ विपय, २ संशय, ३ पूर्वप, ४ उत्तरपक्ष, २ निर्णय | यथाः--- "विषयो विषयप्रवेध पूर्वपलस्तथोतरं । निर्णयश्चेति सिद्धान्तः शास्त्रेऽधिकरणं स्मृतम् ॥” -भोजकः (पु० ) जज । निर्णायक । न्यायकती। - मण्डपः ( पु० ) श्रदालत । न्यायालय /- सिद्धान्तः (पु०) सिद्धान्त विशेष जिसके सिद्ध होने से अन्यसिद्धान्त भी स्वयं सिद्ध हो जायँ । अधिकरणकः ( पु० ) न्यायाधीश न्यायकत्ती । राज्यन्यवर्ग पर्यवेक्षक वह जिसको देखरेख और प्रबन्ध का काम सौंपा गया हो। अधिगुण (वि ) योग्य | उत्कृष्टगुण विशिष्ट । गुण- वान् । (कमान पर ) भली भाँति रोदा चढ़ाया हुआ । भलीभाँति प्रन्धित । अधिकर्मिकः (पु०) किसी बाज़ार का दरोगा, जिसका अधिवरणं (न०) किसी वस्तु के ऊपर टहलना या चलना । काम व्यापारियों से कर उगाहने का हो । अधिकाम (वि० ) उम्र थाकाक्षाओं वाला । अति प्रचण्ड । क्रोधाविष्ठ । उत्तेजित | कामासक्त । कामो- दीप्तिजनक । (०) अधिकार में आया हुआ। हाथ मे आया हुआ। उपलब्ध | अधिकृतः (पु०) अधिकारी अध्यक्ष अधिकृतिः (स्त्री० ) स्वत्व | हक्क | मालकाना | अधिकृत्य (अन्य ) सम्बन्ध से। विषयक । अधिकम: (पु०)} चढ़ाई । आरोहण । चढ़ाव। अधिक्षेपः ( पु० ) १ कुवाथ्य | गाली । आक्षेप । अप- मान | व्यंग्य | २ वरखास्ती विसर्जन । त ( भू० का० कृ० ) १ प्राप्त | पाया हुआ । २ जाना हुआ। अवगत । ज्ञात | पड़ा हुआ। (०)अधिगमनम् (न०) प्राप्ति | पाना । ज्ञान अध्ययन | ३ लाभ । सम्पत्ति की प्राप्ति । व्यापारिक सारिणी । ४ स्वीकृति । ५ सङ्गम संसर्ग आलाप । अधिकारः ( 30 ) १ कार्यभार । आधिपत्य । प्रभुत्व । अधिकार | २ अधिकारयुक्तपद ३ शासन । ४ प्रकरण शीर्षक & क्षमता । ६ योग्यता : परिचय ज्ञान-विधि (स्त्री०) मीमांसा की वह विधिया आज्ञा जिससे यह बोध हो कि, किस फल के लिये कौन सा मानुष्ठान करना चाहिये । अधिजननं (न०) उत्पत्ति । अधिजिह्वः (पु०) १ सर्प । अधिजिहा 2 १ उपजिह्वा । २ जिह्वा पर एक अधिजिडिका । प्रकार की सूजन । अधिव्य (वि०) धनुष का रोदा ता हुए। अधित्यका (स्त्री०) पहाड़ के ऊपर की समतल भूमि | ऊँचा पथरीला मैदान । उसका उल्टा " उपत्यका " अधिदन्तः ( पु० ) एक दाँत के ऊपर दूसरे दाँत की उत्पत्ति ।