पृष्ठम्:संस्कृत-हिन्दी शब्दकोशः (चतुर्वेदी).djvu/२०३

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ओ मू (धन्यवा० । देखो ओङ्कार । फ: ( पु० ) गहरी खरोच श्रोरम्फः ) श्रोल (वि० भींगा। नम | सर । " ओलंडू ) (धा०] पर०) [थोलण्डति, ओलडपति, ओलण्डे ' ओलण्डित ] ऊपर की ओर फैंकना। उडालना ओल्ल (बि० ) नम | तर यो (पु०) शरीर बंधक घोषः (पु०) जलन । दाह । 1 प्रतिभू । झामिन । ः (पु० ) चरपराहट । तीच्यता । ओषधिः (स्त्री० ) १ रुखरी | गुल्म | २ काष्ठादि घोषधी दवाइयाँ । बसौंठ पौधा विशेष जो पकने योग्यता । लौलीनता । उपयुक्तता न्यायत्व | औौत्सर्गिक पर सूख जाता है। ईशः गर्भः, नाथः, (पु०) चन्द्रमा - ज. (वि०) पैथों से उत्पन्न । - धः, -पतिः (पु० ) १ दवाइयाँ बेचने वाला । २ वैय। हकीम | ३ चन्द्रमा प्रस्थः (पु० ) हिमालय की राजधानी । योष्ठः (पु० ) होंठ | अधर । -प्रघरौ, रं. (न० ) ऊपर और नीचे का ओठ | पुढं, (न० ) मुँह खोलने से जो मुँह में खाली स्थान बन जाता है श्रौ औ संस्कृत वर्णमाला का बारहवों वर्ण । इसका | चौडू: ( पु०) उड़ीसा प्रान्त का रहने वाला या यहाँ का राजा । उच्चारयस्थान कण्ठ और श्रोष्ठ है। यह स्वर च+ ओ के मिलाने से बनता है। श्रौ (अन्य ) आह्वान सम्बोधन, विरोध, और सङ्कल्प द्योतक अव्यय विशेष | (न० ) पढ़ने की विषय विधि । धिक्यं ( म० ) उध संहिता | औक्षकम् ( न० ) बैलों की हेद याबैलों का झुंड }< [ चिन्ता | श्रौत्कंठपं, औौकराठयं ( न० ) १ अभिलाषा । औत्कम् (न०) सर्वश्रेष्ठता | उस्कृष्टता औत्तमिः ( पु० ) १४ मनुओं में से एक मनु का नाम । औत्तर (वि० ) उत्तरी उत्तर दिशा का। औत्तरेयः (पु० ) परीक्षित राजा का नाम, जिनका श्रौत्तानपादः ? (पु०) १ ध्रुव जी का नाम । २ ध्रुव जन्म उत्तरा के गर्भ से हुआ था प्रौक्षम् भौयं (न० ) उग्रता | भयानकता निष्ठुरता औः (१०) बूड़ा जल की बाढ़ औचित्यम् ( न० ) औचिती ( श्री० ) श्रौत्तानपादिः । नाम का सितारा जो सदा उत्तर दिशा में देख पड़ता है। श्रौत्पत्तिक ( वि० ) १ प्राकृतिक प्रकृति सम्बन्धी । सहज | २ एक ही समय में उत्पन्न । औत्पात (वि० ) अपशकुनों का प्रतिकार करते हुए। श्रौत्पातिक (वि० ) श्रमाङ्गलिक | विपत्तिकारक। अकल्याणकारक । सत्यस्व श्रौच्चैःश्रवसः (पु० ) इन्द्र के घोड़े का नाम । प्रौजसिक (वि० ) शक्तिशाली । बलवान । औजस्य (वि० ) शक्ति और वल के लिये लाभदायक। औजस्य ( न० ) शक्ति | जीवनी शक्ति / योज्ज्वल्यम् ( न० ) चमक । कान्ति। औधिक (वि. ) नाव से नदी पार करना। औडुपिकः ( पु० ) नाव या बेड़ा का यात्री । औौडम्वर औदुम्बर गुलर 1 ओष्ठ्य (वि०) ओठों का । २ ओठों की सहायता से उच्चारित होने वाले वर्ष अर्थात् उ, ऊ, प, फ, ब, भ, म ओष्ण (वि० ) गुनगुना। थोड़ा गर्म औत्पातिकम् (न० ) अपशकुन धमङ्गल । औौत्सङ्गिक ( वि० ) कुल्दे पर रख कर ढोया हुआ या कुल्हे पर रखा हुआ। प्रौत्सर्गिक ( वि० ) १ सामान्य विधि के योग्य | २ त्याज्य छोड़ने योग्य ३ प्राकृतिक | स्वाभाविक । ४ औत्पत्तिक ।