पृष्ठम्:चतुर्वेदी संस्कृत-हिन्दी शब्दकोष.djvu/१४३

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खर चतुर्वेदीकोष | १४३ खटका, (स्त्री.) खड़िया मिट्टी छेद । घास। खट्टिक, (पुं.) खटिक । चिड़ीमार । खट्टिका, ( स्त्री. ) छोटी खाट । रत्थी । खड्डा, (स्त्री. ) पलँग । खाट | मचान | खड्डाङ्ग, (पुं.) एक सूर्यवंशी राजा, जिसने अपनी आयुष्य दो घड़ी शेष जान कर स्वर्ग से वर माँग अयोध्या में आ सर्वत्यागी हो कर मुक्त हुआ । मनुष्य की हड्डियों का ढाँचा | रीद | एक शस्त्र । खड्डाधारी, (पुं.) शिव । खड्डारूढ़, (त्रि.) खाट पर चढ़ा हुआ | निषिद्ध कार्य करने वाला। खड़क्किका, (स्त्री. ) खिड़की । खड़ी, (स्त्री.) खड़िया । खड्ग, (न.) लोहा । ( पुं.) गैंड़ा | खाँड़ा । खड्नपिधान, (न. ) म्यान । खण्ड, (पुं. ) टुकड़ा । खाँड । नपुंसक | रल का ऐव । क खण्डकर्ण, ( पुं. ) शकरकन्द । खण्डताल, (पुं. ) एक प्रकार की ताल । खण्डधारा, (स्त्री.) लैँची । खण्डन, (न.) तोड़ना | टुकड़े २ करना । काट डालना। खण्डपरशु, (पं.) शिव । खण्डित, (त्रि.) तोड़ा गया। काटा गया । खण्डिता, (स्त्री.) वह स्त्री, जिसका पति रात भर अन्य स्त्री के यहाँ रहे । खतमाल, (पुं.) मेघ । धुआँ खदिर, ( पुं. ) खैर । कत्था | इन्द्र । चन्द्र | खदिरिका, ( स्त्री. ) लाख खोत, (पुं.) जुगनू । सूर्य । बन्दूक खधूप, (पुं. ) हवाई | खनक, (पुं.) मूसा । सेंध लगाने वाला । चोर । (त्रि. ) पृथ्वी को खोदने वाला । खनन, (न. ) खोदना । खल खनयित्री, ( स्त्री. ) कुदार | फावड़ा | खनि, (स्त्री.) खान खनित्र, (न. ) कुदार | खोदने का औजार | खभ्रान्ति, ( पुं.) चील्ह | खमणि, (पुं. ) सूर्य | खर, पुं. ) गधा | जनस्थान निवासी राक्षस कामदेव । कौआ । तांक्ष्ण । वह घर, जिसका द्वार पश्चिम मुख हो । खरदूषण, ( पुं. ) धतूरा | खर और दूषण नाम के राक्षस । ( त्रि. ) उप्र दोष वाला । खरध्वंसी, (पुं.) रामचन्द्र | खरी, (स्त्री.) गधी । खरु, ( पुं. ) घमंड । शिव । घोड़ा । दाँत । श्वेत वर्ण । कामदेव । मूर्ख कर | खर्जन, (न.) खुजलाना । a खर्जू, (स्त्री.) खनखजूरा कीड़ा | खज्जूर का पेड़ । खुजली । खर्जूघ्न, ( पुं. ) मदार । धतूरा खर्जूर, (पुं.) बिच्छू । खजूर का फल । चाँदी । खर्जूरी, ( स्त्री. ) बनखजूर । खर्पर, (पुं.) चोर | धूर्त | खप्पर । ( न. ) एक धातु । खर्ब, (पुं.) बौना | कुबड़ा । एक निधि | सहस्रकोटि संख्या | खर्बट, (पुं. न.) चलना । पहाड़ के पास का ग्राम । वह ग्राम जिसके पास शहर हो नदी तथा पर्वत भी वहाँ हो । मंडी लगने वाला ग्राम । चार सौ गाँव के बीच को जगह | खर्बशाखः, (त्रि.) छोटा । ठेंगना | छोटी डाल के वृक्ष । खलू, चलना। हिलना खल, धान कूटने का स्थान । ओखरी । काँड़ी | पृथ्वी । तिल का चूर्ण । नीच । अधम । निर्दय । बेरहम | “ सर्पः क्रूरः खलः क्रूरः सूर्पात् क्रूरतरः खलः 12 मन्त्रौषधियशः सर्पः खलः केन निवार्य्यते ॥ 39 .