पृष्ठम्:चतुर्वेदी संस्कृत-हिन्दी शब्दकोष.djvu/१७७

विकिस्रोतः तः
एतत् पृष्ठम् अपरिष्कृतम् अस्ति

चतुर्वेदीकोष । १७७. डन्दुक, (पुं.) जलपक्षी विशेष । डोम, (पुं. ) चाण्डाल । नीचजातिविशेष | डोर, (पुं.) कलाई में बाँधने का डोरा । डोर। डोरी। ड्डल, (क्रि. ) मिलाना । संमिश्रण करना | ढ, (पुं. ) शब्दविशेष | बड़ा ढोल | कुत्ते की पूँछ । कुत्ता | सर्प । निर्गुण । ढक्का, ( स्त्री. ) बड़ा ढोल | अन्तर्धान होने की क्रिया । ढामरा, ( स्त्री. ) हंस | ढालम्, (न. ) ढाल । ! ढालिन्, ( पुं. ) योद्धा जिसके पास ढाल हो । दुण्ढनम्, (न. ) ढूँढ़ | खोज | दुण्ढि, (पुं) गणेश जी । ढौल, (पुं.) ढोल या मृदङ्ग । ढौकू, (क्रि. ) जाना | समीप पहुँचना । ढौकन, (त्रि.) भेंट चढ़ौती | घूँस | तड़ा

संस्कृत भाषा में ऐसे शब्दों का प्रभाव ही समझना चाहिये जिनके चारम्भ में “ण " हो । (6 धातुपाठ में कुछ धातु है जो " ण" से लिखे जाते हैं । किन्तु वास्तव में वे " " " से न लिखे जा कर न] " से लिखे जाते हैं ।। ण" के साथ लिखे जाने का कारण यह है कि इससे यह सूचित होता है कि " न " कतिपय उपसर्गों के पूर्व आने से “ ण " के साथ भी परिवर्तित होता है । ण, (पुं.) ज्ञान । निर्णय | भूषण | जल | जल का स्थान । बुरा मनुष्य । शिव । न । देना । भेंट | गड्, (क्रि. ) भाव दिखा कर नाचना | मारना । दू, (क्रि. ) ऐसा शब्द करना जो समझ में न आवे । शू, (क्रि. ) छिपाना । नाश होना । गहू, (क्रि. ) बाँधना णिज्, (क्रि. ) शोधना। साफ करना | णिस्, (क्रि. ) चूसना | णी, (क्रि. ) पहुँचाना । ले जाना | शु, (क्रि. ) स्तुति करना । स्तव करना | प्रशंसा करना | त त, ( पुं. ) पूंछ । गीदड़ की पूँछ । छाती । गर्भाशय । टोहनी | योद्धा | चोर | दुष्टजन | जातिच्युत | बर्बर | बौद्ध | रत्न | अमृत | छन्द में गणविशेष | तक, (क्रि. ) दुःखी होना । उड़ना । झपटना | हँसना | चिढ़ाना | सहन करना | तक्र, (न. ) छाछ | माटा | तक्षु (क्रि. ) काटना । तक्षक, ( पुं. ) बढ़ई । लकड़कटा । नाटक का मुख्य पात्र । विश्वकर्मा | नाग का नाम | कश्यपपुत्र ।

तक्षन, (पुं. ) वढ़ई । लकड़हारा । विश्व- कर्मा । तक्षशिला, ( स्त्री. ) तिन्ध देश की एक नगरी । तगर, ( पुं. ) एक पेड़ का नाम । तङ्कन, (न. ) कष्ट सहित जीवन व्यतीन करना । तच्छील, (त्रि.) उस स्वभाव वाला कोई जीव । त, (क्रि. ) ऊँचा होना | तट, (त्रि.) किनारा तीर । नदी का गर्भ | शिव जी का नाम । क्षेत्र | तटस्थ, (त्रि.) तीरवर्त्ती । समीप का । उदासीन पुरुष | तटाक, (पुं.) कम जल वाला तालाव | तटाग, (पुं. ) तालाव | तटा-घात, (पुं. ) हाथी का सूँड़ ऊँची कर के उसे पटकना । कुअरक्रीड़ा |